विश्व का सबसे तेजी के साथ घटता जा रहा प्राकृतिक संसाधन वन हैं। पवन, मृदा, जल, वायु तथा सूर्य का प्रकाश ऐसे प्राकृतिक संसाधन हैं जो प्रकृति में पुनः चक्रित हो सकते हैं परन्तु कोयला, पेट्रोलियम, वन आदि संसाधन सीमित मात्रा में उपलब्ध हैं। अतः हमें इनका विवेकपूर्ण दोहन करना चाहिए।