यदि 22 g बेन्जीन में 122 g कार्बनटेट्राक्लोराइड घुली हो तो बेन्जीन एवं कार्बन टेट्राक्लोराइड के द्रव्यमान प्रतिशत की गणना कीजिए।
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$222.6\ g$ एथिलीन ग्लाइकॉल$, C_2H_4(OH)_2$ तथा $200\ g$ जल को मिलाकर प्रतिहिम मिश्रण बनाया गया। विलयन की मोललता की गणना कीजिए। यदि विलयन का घनत्व $1.072\ g\ mL^{-1}$ हो तो विलयन की मोलरता निकालिए।
हेप्टेन एवं ऑक्टेन एक आदर्श विलयन बनाते हैं। 373 K पर दोनों द्रव घटकों के वाष्प दाब क्रमशः 105.2 kPa तथा 46.8 kPa हैं। 26.0 g हेप्टेन एवं 35.0 g ऑक्टेन के मिश्रण का वाष्प दाब क्या होगा?
$298\ K$ पर मेथेन की बेन्जीन पर मोललता का हेनरी स्थिरांक $4.27 \times 10^5 \ mm \ Hg$ है। $298\ K$ तथा $760\ mm\ Hg$ दाब पर मेथेन की बेन्जीन में विलेयता परिकलित कीजिए।
एक वैद्युतअनअपघट्य के $1.00\ g$ को $50\ g$ बेन्जीन में घोलने पर इसके हिमांक में $0.40\ K$ की कमी हो जाती है। बेन्जीन का हिमांक अवनमन स्थिरांक $5.12 K \ kg\ mol^{-1}$ है। विलेय का मोलर द्रव्यमान ज्ञात कीजिए।
संघटनों के संपूर्ण परास में बेन्जीन तथा टॉलूईन आदर्श विलयन बनाते हैं। 300 K पर शुद्ध बेन्जीन तथा टॉलूईन का वाष्प दाब क्रमश: 50.71 mm Hg तथा 32.06 mm Hg है। यदि 80 g बेन्जीन को 100 g टॉलूईन में मिलाया जाये तो वाष्प अवस्था में उपस्थित बेन्जीन के मोल-अंश परिकलित कीजिए।
$185,000$ मोलर द्रव्यमान वाले एक बहुलक के $1.0 g$ को $37^\circ C$ पर $450 \ mL$ जल में घोलने से उत्पन्न विलयन के परासरण दाब का पास्कल में परिकलन कीजिए।