साम्यवादी पोलैंड में 14 अगस्त, 1980 ई. को लेनिन जहाज कारखाना के एक क्रेन चालक महिला को गलत तरीके से नौकरी से निकाल दिया । अतः उसके समर्थन में अन्य कर्मचारी भी हड़ताल पर चले गये । उनकी माँगें थीं-
- देश में स्वतंत्र मजदूर संघ को मान्यता मिले
- राजनैतिक बंदियों को रिहा किया जाय तथा
- प्रेस पर लगी सेंसरशिप हटाई जाए।
इस तरह इस आन्दोलन की लोकप्रियता के समक्ष सरकार को झुकना पड़ा । लेक वालेशा के नेतृत्व में मजदूरों ने सरकार के साथ 21 सूत्री समझौता किया। यह समझौता ‘ग्डांस्क संधि’ कहलायी।