एक परीक्षण आवेश q को एक वैधुत द्विध्रुव की मध्यवर्ती अक्ष (equitorial axis) के अनुदिश एक सेमी. ले जाने में कितना कार्य करना होगा?
Download our app for free and get started
चूँकि द्विध्रुव की मध्यवर्ती अक्ष के प्रत्येक बिन्दु पर विभव शून्य होता है, अतः इसके किन्हीं दो बिन्दुओं के बीच विभवान्तर = 0, अतः कार्य $w =a \times \Delta V=q \times 0=0$
Download our app
and get started for free
Experience the future of education. Simply download our apps or reach out to us for more information. Let's shape the future of learning together!No signup needed.*
4 सेमी. व 7 सेमी. के दो चालक गोलों पर आवेश की मात्राएँ क्रमशः 500 माइक्रो फूलॉम और 60 माइक्रो कूलॉम हैं। चालकों को पररपर जोड़ने पर विधुत स्थितिज ऊर्जा हानि की गणना कीजिए।
एक समान्तर पट्ट वायु संधारित्र की धारिता 8 µF है। इसकी प्लेटों के बीच की दूरी आधी कर दी जाती है तथा प्लेटों के बीच का स्थान 5 परावैद्युतांक वाले माध्यम से भर दिया जाता है। दूसरी स्थिति में संधारित्र की धारिता ज्ञात कीजिए।
एक वर्ग की प्रत्येक भुजा 90 सेमी. लम्बी है। इसके कोने पर क्रमशः - 2, +3, -4 तथा +5 माइक्रो कूलॉम आवेश रखे हैं। वर्ग के केन्द्र पर विधुत विभव ज्ञात कीजिये।
एक छोटे चालक गोले (त्रिज्या r) को त्रिज्या R के एक बड़े चालक खोखले गोले में संकेन्द्रीय स्थिति में रखा गया है। यड़े तथा छोटे गोलों को क्रमशः Q व q (Q > q) से आवेशित करके परस्पर पृथक्कृत रखा जाता है। गोलों के मध्य विभयान्तर की गणना कीजिए।
$(a)$ आवेश $4 \times 10^{-7}C$ के कारण इससे $9\ cm$ दूरी पर स्थित किसी बिंदु $P$ पर विभव परिकलित कीजिए।
$(b)$ अब, आवेश $2 \times 10^{-9} C$ को अनंत से बिंदु $P$ तक लाने में किया गया कार्य ज्ञात कीजिए। क्या उत्तर जिस पथ के अनुदिश आवेश कोको लाया गया है उस पर निर्भर करता है?
एक समान्तर प्लेट संधारित्र को 50 V के विभयान्तर से आवेशित किया जाता है। तत्पश्चात् इसे एक प्रतिरोधक द्वारा 2 sec के लिए निरायेशित किया जाता है, जिससे इसका विभव 10 V घट जाता है। संधारित्र में एकत्रित ऊर्जा के भाग की गणना कीजिए।