मार्कोनीकॉफ के नियम तथा परॉक्साइड प्रभाव की व्याख्या उदाहरण सहित कीजिए।
Download our app for free and get started
ऐल्कीनों पर हाइड्रोजन अम्ल (HX) के संकलन (संयोजन) से- ऐल्कीनों पर HX के संकलन से हैलोऐल्केन बनते हैं। असममित ऐल्कीनों पर HX के संकलन में प्राप्त उत्पाद मार्कोनीकॉफ के नियम के अनुसार होता है तथा परॉक्साइड की उपस्थिति में HBr का संकलन परॉक्साइड प्रभाव के अनुसार होता है। इस अभिक्रिया के लिए विभिन्न हाइड्रोजन हैलाइडों की क्रियाशीलता का क्रम निम्न प्रकार होता है- $HI > HBr > HCl > HF$ मार्कोनीकॉफ का नियम- जब किसी असममित ऐल्कीन पर HX का योग होता है तो ऋणात्मक भाग $(\overline{ X })$ उस असंतृप्त कार्बन पर जुड़ता है जिस पर हाइड्रोजन परमाणुओं की संख्या कम होती है। यह एक इलेक्ट्रॉनस्नेही योगात्मक अभिक्रिया है। अभिक्रिया की क्रियाविधि- परॉक्साइड प्रभाव या खराश प्रभाव- जब किसी असममित ऐल्कीन पर परॉक्साइड की उपस्थिति में HBr का योग होता है तो ब्रोमीन परमाणु उस असंतृप्त कार्बन पर जुड़ता है जिस पर हाइड्रोजन परमाणुओं की संख्या अधिक होती है।
Download our app
and get started for free
Experience the future of education. Simply download our apps or reach out to us for more information. Let's shape the future of learning together!No signup needed.*
निम्नलिखित समीकरणों को पूर्ण कीजिए - (i) $CH _3- CH _2- Cl \xrightarrow{+ A } B \xrightarrow{ C } CH _3- CH _2- NH _2+ HCOOH$ (ii) $CH _3- I \xrightarrow{+ A } B \xrightarrow{ C } CH _3- NH - CH _3$
$(i)\ CH_3-I, Mg$ तथा शुष्क ईथर के प्रयोग से एथेन किस प्रकार बनाया जा सकता है?
$(ii)\ CH_3COOH$ से प्रारम्भ करके एथिल एथेनॉएट बनाने में प्रयुक्त समीकरण लिखिए।