भारत में सड़क मार्ग परिवहन का एक प्रमुख साधन है। इन सड़क मार्गों का देश के विभिन्न भागों में समुचित रूप से वितरण हुआ है। हमारे देश में सड़क से संबंधित एक्सप्रेस राष्ट्रीय महामार्ग हैं। जिनका वितरण दिल्ली, मुंबई, चेन्नई, कोलकाता इत्यादि क्षेत्रों में प्रमुख रूप से हुआ है। इसी प्रकार राष्ट्रीय महामार्ग की सड़कें बहुत महत्व की हैं। इन राष्ट्रीय महामार्गों का वितरण देश के विभिन्न भागों में हुआ है। ये सड़कें विभिन्न राज्यों की राजधानियों को आपस में मिलाती हैं। इसी प्रकार राज्य महामार्ग प्रत्येक राज्य की राजधानी के क्षेत्रों में पायी जाती है। ये महामार्ग प्रत्येक राज्य की राजधानी को उस राज्य के प्रमुख नगरों से मिलाते हैं। इसी प्रकार जिले की सड़कों का वितरण जिला मुख्यालय के क्षेत्रों में किया गया है। ये सड़कें जिला मुख्यालय को जिले के अन्य नगरों एवं कस्बों से जोड़ते हैं। गाँव की सड़कों का वितरण ग्रामीण क्षेत्रों में किया गया है। ये सड़कें गाँव को जिले के विभिन्न नगरों में मिलाती हैं। सीमा सड़कों का वितरण देश के सीमावर्ती क्षेत्रों में किया जाता है।
भारत में रेलवे परिवहन का सबसे प्रमुख साधन है। देश में रेल मार्गों का जाल बिछा हुआ है जिसकी कुल लंबाई लगभग 64 हजार किमी. है। भारत के विभिन्न क्षेत्रों में रेलमार्ग का वितरण किया गया है। भारत में रेलमार्गों का वितरण प्रमुख रूप से उत्तर भारत के मैदानी भागों में और दक्षिण भारत के सौराष्ट्र एवं तमिलनाडु में हुआ है। उत्तर भारत के मैदानी भाग में कृषि, वाणिज्य-व्यवसाय और उद्योग-धन्धों का समुचित विकास हुआ है जिसके कारण रेलमार्ग अधिक पाये जाते हैं, क्योंकि यहाँ की समतल भूमि पर रेलमार्गों का आसानी से निर्माण किया जा सकता है। इसलिए यहाँ रेलमार्गों का अधिक घनत्व पाया जाता है। इसी प्रकार सौराष्ट्र और तमिलनाडु में समतल भूमि अधिक है। साथ ही इन क्षेत्रों में वाणिज्य-व्यवसाय तथा उद्योग-धन्धों का समुचित विकास हुआ है। जिसके कारण इन क्षेत्रों में रेलमार्गों का विकास अधिक किया गया है।