दो समतल दर्पण एक दूसरे से $60^{\circ}$ कोण बनाते हुए रखे गये हैं। एक कण इनके बीच रखा गया है बताओ इसके कितने प्रतिबिम्ब बनेंगे?
[1995]
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(b) दो दर्पणों के बीच कोण $(\theta)=60^{\circ}$
झुके हुए दर्पणों द्वारा बनाये गए प्रतिबिम्बों की संख्या
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\text { (n) }=\frac{360^{\circ}}{\theta}-1=\frac{360^{\circ}}{60^{\circ}}-1=6-1=5
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हरें रंग का प्रकाश $(\lambda=5460 A)$ का हवा-कांच के समतल पर पड़ता है। कांच का अपवर्तनांक $1.5$ है प्रकाश की कांच में तरंग दैर्ध्य होगी ( $c=3 \times 10^8$ मी/सेकंड)
प्रिज्म के किसी अपवर्तक पृप्ठ पर किसी प्रकाश किरण के लिए आपतन कोण का मान $45^{\circ}$ है। प्रिज्म कोण का मान $60^{\circ}$ है। यदि यड किरण प्रिज्म से न्यूनतम विचतित होती है, तो न्यूनतम विचलन कोण तथा प्रिज्म के प्रदार्थ का अपवर्त्तनांक क्रमश: हैः
अपवर्तनांक $\mu$ के एक पारदर्शी माध्यम से चलती हुई प्रकाश की एक किरण, इस माध्यम और वायु को पृथक करने वाली सतह पर $45^{\circ}$ के कोण पर टकराती है। अपवर्तनांक $\mu$ के किस मान के लिए इस किरण का पूर्ण आंतरिक परावर्तन हो जायेगा?
एक समतल उत्तल और एक समतल अवतल लेंस एक दूसरे के ऊपर पूर्णतः ठीक बैठ जाते हैं। उनके समतल पृष्ठ आपस में समान्तर हैं। यदि इन लेंसों के पदार्थां के अपवर्तनांक $\mu_1$ और $\mu_2$ हैं तथा दोनों के वक्र पृष्ठों $($ तलों $)$ की वक्रता त्रिज्या $R$ है तो इनके संयोजन की फोकस दूरी होगी :
एक काँच के ब्लॉक के एक पृष्ठ को पौलिश किया गया है। इसकी मोटाई $6$ सेमी है। एक वस्तु पहले पृष्ठ से $8$ सेमी दूर रखी गयी है, पॉलिश पृष्ठ के $12$ सेमी पीछे इसका प्रतिबिम्ब बनता है । कांच का अपवर्तनांक होगा: