रेत के नमूने में से नाइट्रोजन की उपस्थिति आकलन करने की केल्डॉल विधि में $0.75$ ग्राम नमूने से उत्सर्जित अमोनिया को 10 मिली $1 M H _2 SO _4$ से उदासीन किया जाता है। रेत में नाइट्रोजन का प्रतिशत है
नाइट्रोजन के डय्युमा की विधि से आकलन करने पर एक आर्गेनिक यौगिक का $0.35 g , 300 K =15 K$ ताप और $715 mm$ दाब पर $55 mL$ नाइट्रोजन देता है। यौगिक में नाइट्रोजन का प्रतिशत संगठन होगा:
निम्न कोर्बेनायनों का स्थायित्व
(1) $RC =\stackrel{\ominus}{ C }$
(2)
(3) $R _2 C =\stackrel{\ominus}{ C } H$
(4) $R _3 C -\stackrel{\ominus}{ C } H _2$
इस क्रम में है:
डाइफिनाइल मिथेन ( $- CH _2 \longrightarrow$ का अणु सूत्र $C _{13} H _{12}$ है। यदि एक $H$-परमाणु को क्लोरीन परमाणु द्वारा विस्थापित कर दिया जाये तो इनके संभावित संरचनात्मक समावयवों की संख्या कितनी होती है?
एक अकार्बनिक यौगिक जिसमें $C , H$ और $N$ हैं, का विश्लेषण से निम्नलिखित ऑकड़े देता है:
$C =40 \% ; H =13.33 \% ; N =46.67 \%$ इसका मूलानुपाती सूत्र हो सकता है:
क्लोरोबेंजीन से क्लोरीन का प्रतिस्थापन फिनाल प्रदान करता है जिसके लिए एक कठिन परिस्थिति की आवश्यकता होती है किन्तु 2,4 -डाइनाइट्रोक्लोरोबेंजीन आसानी से क्लोरीन को प्रतिस्थापित कर देता है, क्योंकि
निम्नलिखित में से कौन सी विधि बेंजोइक अम्ल, आइसो एमाइल अल्कोहल, साइक्लो हेक्सेन तथा साइक्लो हेक्सनॉन के मिश्रण से साइक्लोहेक्सेनोन के परिष्करण के लिए सबसे उपयुक्त है?
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