किसी क्षेत्र में, एकसमान विद्युत और एकसमान चुम्बकीय क्षेत्र एक ही दिशा के अनुदिश कार्य कर रहे हैं। यदि इस क्षेत्र में एक इलेक्ट्रॉन इस प्रकार प्रक्षेपित किया जाये कि उसके वेग की दिशा, क्षेत्रों की दिशा में हो तो इलेक्ट्रॉन:
[2011]
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(b) $\overrightarrow{ v }$ और $\overrightarrow{ B }$ समान दिशा में हैं, अतः इलेक्ट्रॉन पर चुम्बकीय बल शून्य हो जाता है, केवल विद्युतीय बल कार्यशील रहता है। लेकिन इलैक्ट्रॉन पर विद्युत क्षेत्र के कारण कार्यशील बल इसके वेग की दिशा के विपरित है।
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दो समांतर तार $P \& Q$ एक दूसरे के लम्बवत् समतल में $5$ मीटर की दूरी पर रखे हैं। इनमें धारा का मान क्रमश: $2.5 A$ तथा $5 A$ है जो समान दिशाओं में चलती है। उनके मध्यवर्ती बिन्दु पर चुम्बकीय क्षेत्र है
जब किसी कमरे में एक प्रोटॉन को विराम अवस्था से मुक्त किया जाता है तो, यह प्रारंभिक त्वरण $a _0$ से पश्चिम दिशा की ओर गति करता है। यदि इसे $v _0$ वेग से उत्तर दिशा की आरे प्रेक्षित किया जाता है तो यह प्रारंभिक त्वरण $3 a _0$ से पश्चिम दिशा की ओर चलता है तो, इस कमरे में विद्युत तथा चुम्बकीय क्षेत्र हैं:
दो एक-जैसी कुंडलीयों की त्रिज्या $R$ है। इनको संकेन्द्रीय इस प्रकार रखा गया है कि उनके समतल, एक दूसरे के लम्बवत् हैं। उनसे प्रवाहित विद्युत धारायें क्रमशः I तथा $2 I$ हैं तो, केन्द्र पर परिणामी चुम्बकीय क्षेत्र प्रेरण होगा:
किसी $R$ मीटर त्रिज्या के किसी छल्ले (वलय) पर $q$ कूलॉम आवेश एक समान रूप से फैला हुआ है। यह छल्ला अपनी अक्ष पर $f$ परिक्रमण प्रति सैकंड की आवृति से घूर्णन करता है। छल्ले के केन्द्र पर चुम्बकीय प्रेरण का मान $Wb / m ^2$ में है
एक इलैक्ट्रान एक समान वेग $v$ से वृतीय पथ पर गति करता है। इससे केन्द्र पर एक चुम्बकीय क्षेत्र $B$ बनता है। तो वृत की त्रिज्या निम्न में से किसके समानुपाती होगी?