यूरोप में राष्ट्रवाद की अभिव्यक्ति यूरोप में राष्ट्रवाद की प्रथम स्पष्ट अभिव्यक्ति सन् 1789 में फ्रांसीसी क्रान्ति के साथ हुई। यथा-
(1) इस क्रान्ति में फ्रांसीसी क्रान्तिकारियों ने प्रारम्भ से ऐसे अनेक कदम उठाए जिनसे फ्रांसीसी लोगों में एक सामूहिक पहचान की भावना उत्पन्न हो सकती थी।
(2) फ्रांसीसी क्रान्तिकारियों का प्रमुख लक्ष्य यूरोप के लोगों को निरंकुश शासकों से मुक्त कराना था।
(3) इस क्रान्ति के बाद नेपोलियन ने प्रशासनिक क्षेत्रों में जिन क्रान्तिकारी सिद्धान्तों को सम्मिलित किया वे राष्ट्रवाद की ही अभिव्यक्ति थे। यथा-
सन् 1804 में नेपोलियन ने एक नागरिक संहिता का निर्माण किया था जिसमें जन्म पर आधारित विशेषाधिकारों को समाप्त कर दिया था।
इस नागरिक संहिता में कानून के समक्ष समानता एवं सम्पत्ति के अधिकार को सुरक्षित रखने की बात कही गई थी।
कुलीन वर्ग को प्राप्त विशेषाधिकारों की समाप्ति के पश्चात् शिक्षित एवं उदारवादी मध्य वर्गों के बीच राष्ट्रीय एकता के विचारों का अधिक प्रचार-प्रसार हुआ।