यह मानते हुए कि सूर्य $r$ त्रिज्या का गोलाकार बाहरी तल रखता है और तापमान $t^{\circ} C$ पर एक कृष्ण पिंड की तरह प्रकीर्णन करता है, सूर्य केन्द्र से $R$ दूरी पर आपतित किरणों से लम्ब दिशा में किसी एक मात्रक तल द्वारा प्राप्त की गई शक्ति होगी-
[2007]
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(c) सूर्य द्वारा $t^{\circ} C$ पर विकिरित शक्ति
$
=\sigma( t +273)^4 \cdot 4 \pi r ^2 a
$
$\therefore R$ त्रिज्या के एकांक सतह द्वारा ग्रहण किया गया
$
power=\frac{\sigma( t +273)^4 \cdot 4 \pi r^2}{4 \pi R^2}=\frac{r^2 \sigma(t+273)^4}{R^2}
$
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एक पिण्ड $50.0^{\circ} C$ से $49.9^{\circ} C$ तक ठण्डा होने में 5 सेकंड लेता है तो यह $40.0^{\circ} C$ से $39.9^{\circ} C$ तक ठण्डा होने में कितना समय लेगा । बाहर का तापमान $30.0^{\circ} C$ तथा यहाँ न्यूटन का शीतलन सिद्धान्त कार्यरत् है।
$227^{\circ} C$ तापमान पर एक कृष्ण पिंड $7 cal / cm ^2 s$ की दर से ऊष्मा का विकिरणन करता है। $727^{\circ} C$ तापमान पर इन्हीं मात्रकों में इस पिंड के ऊष्मा विकिरणन की दर होगी $:-$
निम्नलिखित में से कौन-सी वृत्ताकार छड़ (r त्रिज्या तथा लम्बाई l) जिनमें प्रत्येक समान पदार्थ से बनी है तथा जिनके सिरे समान ताप पर रखे गये हैं, अधिकतम ऊर्जा का चालन करेगी?
ताप की एक नई स्केल, जो रेखीय है, उसे $W$ स्केल का नाम दिया गया है। इस स्केल पर जल का हिमांक और क्वथनांक क्रमानुसार $39^{\circ} W$ और $239^{\circ} W$ है। जब सैल्सीअस स्केल पर ताप $39^{\circ} C$ होगा, तो नई स्केल पर ताप का मान होगा:
दो छड़ समान लम्बाई, ऊष्मा चालकता $K _1, K _2$, क्षेत्रफल $A _1, A _2$ तथा विशिष्ट ऊष्मा $S _1, S _2$ है । दोनों सिरों के ताप $T _1$ व $T _2$ है। साम्वास्था में ऊष्मा प्रवाह की दर है:
लम्बाई $L$ और एकसमान परिच्छेद क्षेत्रफल $A$ की एक छड़ के दो सिरों को दो तापमानों $T _1$ और $T _2$ ( जबकि $T_1>T_2$ है) पर निरन्तर रखा जा रहा है। स्थिर अवस्था में छड़ में से ऊष्मा के स्थानान्तरण की दर, $\frac{ dQ }{ dt }$ होगी:-