(i) अनिषेकफलन द्वारा उदाहरण-केला
(ii) बिना निषेचन के बीज निर्माण के दो प्रकार निम्नलिखित हैं-
(a) असंगजनन - कुछ पादपों में बिना अर्द्धसूत्री विभाजन के द्विगुणित अण्ड कोशिका बन जाती है। इस द्विगुणित अण्ड कोशिका से बिना निषेचन के भ्रूण विकसित हो जाता है।
(b) अपस्थानिक भ्रूणता - जब भ्रूण का विकास भ्रूणकोश के अतिरिक्त बीजांड की किसी अन्य कोशिका से होता है तो इस प्रक्रिया को अपस्थानिक भ्रूणता कहते हैं। उपर्युक्त दो युक्तियों से बनने वाले बीज बिना निषेचन के विकसित होते हैं।