आत्म निर्वाह कृषि आज भी भारत के पूर्वोत्तर राज्यों, छत्तीसगढ़ के बस्तर जिले, मध्य प्रदेश, आंध्र प्रदेश तथा उड़ीसा के वनीय क्षेत्र व अन्य पर्वतीय क्षेत्रों, अंडमान निकोबर द्वीप समूह में की जाती है।
आत्म निर्वाह कृषि किये जाने के कारण-
यहाँ के लोगों का जीवन-स्तर निम्न है।
इनके औजार व कृषि पद्धति पुरानी है।
ये लोग अपने और अपने परिवार की उदरपूर्ति के लिए ही कृषि करते हैं।
मृदा की प्राकृतिक उर्वरता, मानसूनी वर्षा तथा अन्य पर्यावरणीय तत्व भी इसके प्रमुख कारण हैं।